उत्तरकाशी-12 सूत्रीय मांगों को लेकर प्रधान संगठन का मुख्यविकास अधिकारी कार्यालय के बाहर धरना प्रदर्शन और तालाबंदी
2- 15 वें वित्त में हो रही भारी कटौती पर शीघ्र रोक लगाई जाए और पूर्व की भांति 15वें वित्त से कंटीजेंसी की राशि 10% रखी जाए ।
3-73वें संविधान संशोधन के प्रावधानों को लागू करते हुए 29 विषयों को शीघ्र ग्राम पंचायतों को हस्थानांतरित किया जाए।
4/ग्राम पर ग्राम प्रधानों का मानदेय 1500 रुपये से बढ़ाकर 10,000 रुपये किया जाए और ₹5000 मासिक पेंशन दी जाए
5-मनरेगा कार्य दिवस प्रति परिवार 100 दिन से बढ़ाकर 200 दिन प्रतिवर्ष किया जाए।
6- ग्राम पंचायतों में पंचायतों की वह कंप्यूटर ऑपरेटरों की नियुक्ति शीघ्र की जाए।
7- ग्राम विकास विभाग एवं ग्राम पंचायत विभाग का पूर्व की भांति एकीकरण किया जाए।
8- विधायक निधि /सांसद निधि को आधार मानते हुए ग्राम पंचायतों को भी ₹500000 प्रति वर्ष ग्राम पंचायत निधि की व्यवस्था की जाए।
9- ग्राम पंचायत को आपदा मद से प्रतिवर्ष ₹500000 की धनराशि दी जाए।
10- ग्राम पंचायत में किसी भी विभाग द्वारा किए जाने वाले विकास कार्य एवं अन्य कार्य नई ग्राम पंचायत की खुली बैठक का प्रस्ताव एवं अनुमति को अनिवार्य किया जाए।
11- प्रधानमंत्री आवास योजना के तहत चयनित ग्राम पंचायतों के लाभार्थियों को अति शीघ्र धनराशि दी जाए।
12- कोरोना संक्रमण के कारण ग्राम पंचायतों का का कार्यकाल 2 वर्ष बढ़ाया जाए।
इस प्रकार अपनी 12 सूत्रीय मांगों को लेकर प्रधान संगठन आक्रोशित है प्रधान संगठन का कहना है कि यदि सरकार ने हमारी 12 सूत्रीय मांगों का शीघ्र निस्तारण नहीं किया तो हम लोग पूरे प्रदेश के प्रधान संगठन उग्र धरना प्रदर्शन के लिए बाध्य हो जाएंगे।
इस अवसर पर बृजपाल सिंह रजवार,नवीन भंडारी,प्रदीप राज जिला महासचिव,मधु राणा तनुजा चौहान,शिवराज सिंह बिष्ट,रीता रतूडी ,सुरेश रावत,आदि मौजूद रहे।
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